Friday, August 12, 2011

Nice guys finish last...

जीवन के इस मोड़ पर, इक बात तो हम जान चुके हैं,

बाकी लोग ना माने लेकिन, हम तो यह मान चुके हैं

चहु ओर जो देखूं, दिखत हैं सब सुबालक हताश

It is safe to assume that nice guys indeed finish last


कछुए-खरगोश की कहानी में थोड़े lies हैं

Updated story में loser तो बेचारा tortoise है

कहानी में twist ना होता तो गाडी चलाते super fast

क्यूंकि भैय्या, nice guys always finish last


पता नहीं क्यूँ, लेकिन सब गलत ज्ञान का वितरण होता है

मेहनत का फल taste में आजकल कड़वा होता है

projects copy कर, तनिक और किया होता timepass

क्यूंकि भैय्या, nice guys always finish last


यह विचार कर, ना जाने कितने हैं जागे

की लंगूरों के हाथ प्रभु, अंगूर कैसे लागे,

हमने बोला ओ भगवन, यह कैसा है न्याय,

पहले मालूम होता, तो बुराई को हम करते high five

बस, अब तो बिलकुल नाही होवत है बर्दाश्त

हम अब पूछत हैं, nice guys काहे finish last?


भगवन बोले , अरे मंदाबुद्दी बालक!

कलयुग में करत हो, सतयुग की वकालत

यह तो कलयुग की रीत है,

अच्छाई पर बुराई की जीत है,

लो धरो, 'Gita for dummies' का latest kalyug version,

नित - पाठ कर दूर करलो any confusion,

यदि समझ ना आये तो आ जाना मेरी class,

क्यूंकि अरे पार्थ!, nice guys always finish last.


6 comments:

Onkar said...

1 ahe !

Chirayu said...

Devata!!

अमृता said...

khupach chan ahe :)

vivek said...

Thengs thengs. :)

Unknown said...

kaddak!!!

namrataghadi said...

bore!!